Publisher's Synopsis
इतिहास रचनेवाला संगीत महाकाव्य ऐसा न कभी हुआ न ही होगा कभी. रघुवीर श्रीराम चंद्र व परम भक्त श्री हनुमान के सर्वतोपरी दैवी अद्भुत लीलाओ> से ओतप्रोत भरा हुआ यह मनोरम चरित्र आध्यात्मिक गहनता से परिपूर्ण चरित्र जागतिक इतिहास में अनुपम है>. नये रूप रामायण लिख कर उसे उत्तमतम छंद, राग सरगम से अलंकृत की हुई यह कवितारूप प्रस्तुति अपूर्व, असामान्य एवं अद्वितीय है. यह ज्ञान वर्धक है. भक्ति दायक है. शुद्धि कारक है. मनोरंजक है. सुंदर है. पवित्र है. प्रेरणा दायक है. पठनीय है. ज्ञातव्य है. मननीय है. संग्रहणीय है.
भारतीय संस्कृति का ऐसा कोई भी पहलू नहीं है जो इस अनूठे महाकाव्य में रुचिरता से सन्नद्ध न किया हो. यह केवल काव्य मात्र ही नही बल्कि यह गंभीर संशोधन से भरा हुआ सचित्र शोधप्रबंध भी है. यह काव्य-संगीत प्रेमियो>के लिये राग-छंदों का दोहाबद्ध व्याख्याओ>का ऐसा महान भांडागार है जैसा अन्य कहीं भी विद्यमान नहीं है. यह स्वरलीपी से परिपूर्ण महान ग्रंथ लेखक की दस वर्षो> की काव्य तपस्या व संगीत साधना है.